Cyclone Biparjoy: गुजरात में बिपरजॉय तूफान का दिखने लगा असर, IMD ने किया अलर्ट- अभी और रौद्र रूप लेगा चक्रवात

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हाइलाइट्स

वलसाड के समुद्री किनारों पर बिपरजॉय तूफान का साफ असर देखा जा रहा है.
बिपरजॉय के घातक परिणामों को लेकर गुजरात सरकार ने समुद्र तटों को बंद कर दिया
150 km की रफ्तार से चलेगी हवा, कच्छ, जामनगर, द्वारका, समेत कई जिलों में अलर्ट

वलसाड. चक्रवाती तूफान बिपरजॉय (Cyclone Biparjoy) को लेकर मौसम विभाग की ओर से गंभीर चेतावनी जारी की गई है. रविवार को यह और तेज हो गया है और गुजरात के सौराष्ट्र तट की ओर बढ़ते हुए इसका असर भी दिखना शुरू हो गया है. हवाओं की गति बढ़ गई है. तेज हवाओं से समुद्री किनारे बने दुकानों के सामने रखी कुर्सियां और डस्टबिन के डिब्बे हवाओं की तेजी से उड़कर दूर गिरने लगे हैं. वलसाड के समुद्री किनारों पर बिपरजॉय तूफान का साफ असर देखा जा रहा है. तूफान की शुरुआती आहट ही इतनी खतरनाक है कि आस पास के झोपड़े उजड़कर बिखरने लगे हैं.

बिपरजॉय के घातक परिणामों को लेकर गुजरात सरकार ने समुद्र तटों को बंद कर दिया और तटों के किनारे रहने वाले लोगों तक जरूरी सूचना पहुंचाना शुरू कर दिया है. आईएमडी ने इस चक्रवाती तूफान के प्रभाव को लेकर पहले से ही लोगों को सतर्क रहने की चेतावनी दी है. प्रचंड चक्रवाती तूफान ‘बिपरजॉय’ के कच्छ जिले और पाकिस्तान के कराची तट के बीच 15 जून को पहुंचने की संभावना के मद्देनजर गुजरात सरकार राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) एवं राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) के दलों को तटीय इलाकों में तैनात कर रही है. छह जिलों में आश्रय केंद्र स्थापित किए जा रहे हैं.

150 किमी प्रति घंटा की गति से चलेगी हवा
एक अधिकारी ने रविवार को बताया कि 13 से 15 जून के बीच भारी बारिश होने और 150 किलोमीटर (किमी) प्रति घंटा की रफ्तार तक हवा बहने से कच्छ, जामनगर, मोरबी, गिर सोमनाथ, पोरबंदर, और देवभूमि द्वारका जिलों के चक्रवात से प्रभावित होने की संभावना है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने रविवार को कहा कि सौराष्ट्र-कच्छ और कराची तट से 15 जून को दोपहर 125-130 किमी प्रति घंटा से लेकर 150 किमी प्रति घंटा तक की गति वाली हवा के साथ चक्रवात के गुजरने की अत्यधिक संभावना है.

तूफान से राहत में मुख्यमंत्री ने संभाला मोर्चा
राहत आयुक्त आलोक पांडे ने संवाददाताओं से कहा कि गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने तटीय जिलों के जिलाधिकारी, सेना, नौसेना और भारतीय तटरक्षक के प्रतिनिधियों और विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक की है. पांडे ने कहा कि विभिन्न विभागों के अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि वे तटीय जिलों में चक्रवात के प्रभाव को कम करने के लिए पहले से तैयारी करें और समन्वय स्थापित करें.

पांडे ने कहा, ‘‘बैठक में मुख्यमंत्री ने सभी विभागों को चक्रवात से प्रभावित होने की संभावना वाले जिलों के जिलाधिकारियों के साथ समन्वय में अधिकतम संभव राहत व बचाव कार्य करने का निर्देश दिया है. मुख्यमंत्री ने यह जिम्मेदारी तटीय जिलों के वरिष्ठ मंत्रियों को दी है, जो चक्रवात के संभावित प्रभाव को ध्यान में रखते हुए आपदा प्रबंधन कार्य की योजना बनाने और उन्हें क्रियान्वित करने में स्थानीय प्रशासन की मदद करेंगे.

इन इलाकों में तूफान का ज्यादा कहर
मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ) ने एक बयान में ऋषिकेश पटेल, कानूभाई देसाई,राघवजी संघवी, जगदीश विश्वकर्ता और पुरषोत्तम सोलंकी को उन जिलों में पहुंचने का निर्देश दिया है, जहां की उन्हें जिम्मेदारी सौंपी गई है. आईएमडी ने कच्छ, देवभूमि, द्वारका, पोरबंदर, जामनगर, राजकोट, जूनागढ़ और मोरी जिलों में 14 और 15 जून को भारी बारिश होने की चेतावनी जारी की है.

14 और 15 कई स्थानों पर बारिश
आईएमडी ने बुलेटिन में कहा कि 14 जून को कुछ स्थानों पर भारी से बहुत भारी बारिश होने और प्रभावित जिलों में 15 जून को छिटपुट स्थानों पर बहुत भारी बारिश होने की संभावना है. मौसम विभाग ने कहा कि पूर्वी मध्य अरब सागर के ऊपर सक्रिय “बिपरजॉय” रविवार शाम साढ़े चार बजे आठ किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से उत्तर-पूर्व की ओर बढ़ गया.

मछुवारों को तटों से दूर रहने की सलाह
आईएमडी ने प्रभावित होने वाले क्षेत्रों में मछली पकड़ने संबंधी गतिविधियों को पूरी तरह से रोकने की सलाह दी है और मछुआरों को 12 से 15 जून के बीच मध्य अरब सागर और उत्तरी अरब सागर तथा 15 जून तक सौराष्ट्र-कच्छ तटों के पास न जाने का निर्देश दिया गया है. आईएमडी ने समुद्र में उतरे लोगों को तट पर लौटने और अपतटीय एवं तटवर्ती गतिविधियों को विवेकपूर्ण ढंग से नियंत्रित करने की सलाह दी है.

बुधवार तक समुद्र का पानी अस्थिर
इसने कहा कि सौराष्ट्र और कच्छ तट से लगे समुद्र में जल बुधवार तक अस्थिर रहेगा और बृहस्पतिवार को यह और बढ़ जाएगा. मौसम विभाग ने कहा, ‘‘उपरोक्त जानकारी के मद्देनजर, राज्य सरकारों को सलाह दी जाती है कि वे अपने क्षेत्रों में कड़ी निगरानी रखें, नियमित रूप से स्थिति की निगरानी करें और उचित एहतियाती कदम उठाएं. जिला अधिकारियों को स्थिति के अनुसार कदम उठाने की सलाह दी जाती है.’’ (भाषा इनपुट के साथ)

Tags: Cyclone Biparjoy, Gujarat news, Weather Alert

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