[ad_1]
प्रसिद्ध गीतकार, कलाकार और लेखक पीयूष मिश्रा फिल्मी दुनिया के साथ-साथ साहित्यिक दुनिया में भी धमाल मचाए हुए हैं. पीयूष मिश्रा का आत्मकथात्मक उपन्यास ‘तुम्हारी औकात क्या है पीयूष मिश्रा’ ने बिक्री के मामले में नया रिकॉर्ड बनाया है. मात्र 75 दिनों में इस किताब की 13,000 प्रतियों की बिक्री ने हिंदी साहित्य जगत में लोकप्रियता का नया प्रतिमान स्थापित किया है. यह पुस्तक राजकमल प्रकाशन से छपकर आई है.
‘तुम्हारी औकात क्या है पीयूष मिश्रा’ को हाथों हाथ लेने के लिए राजकमल प्रकाशन के प्रबंध निदेशक अशोक महेश्वरी ने पाठकों का आभार व्यक्त किया. उन्होंने कहा कि बहुत लंबे समय के बाद हिंदी सिनेमा के किसी जाने-माने अभिनेता ने अपनी औपन्यासिक कथा अंग्रेजी में न लिखकर हिंदी में लिखी. इस किताब को मिले अपार स्नेह के लिए हम पाठकों के आभारी हैं. हिंदी पाठकों का यह उत्साह और प्रेम लेखक के साथ-साथ प्रकाशक का भी हौसला बढ़ाता है.
अशोक महेश्वरी ने बताया कि पीयूष मिश्रा के इस पुस्तक का पहला संस्करण प्री-बुकिंग में ही समाप्त हो गया था. पुस्तक का दूसरा संस्करण लोकार्पण के महज दो दिनों में समाप्त हो गया. इसका लोकार्पण राजकमल प्रकाशन द्वारा चंडीगढ़ में आयोजित किताब उत्सव में 14 फरवरी हुआ था. पुस्तक का लोकार्पण फ़िल्म निर्माता-निर्देशक अनुराग कश्यप ने किया था.
बेमिसाल कहानी है पीयूष मिश्रा की पुस्तक
‘तुम्हारी औकात क्या है पीयूष मिश्रा’ में पीयूष मिश्रा ने अपने जीवन संघर्ष और खुद को साबित करने की बेमिसाल कहानी लिखी है. बतौर अभिनेता उनके जीवन का अब तक का सफर किस तरह के उतार-चढ़ाव, संघर्ष-सफलता का रहा है, उसे यह किताब पहली बार मुकम्मल ढंग से सामने लाती है. उपन्यास विधा में लिखी गई इस आत्मकथा से हम पीयूष मिश्रा के जीवन से जुड़े शहरों — ग्वालियर, दिल्ली और मुम्बई की फ़िल्मी दुनिया के सुनहरे-अंधेरे क़िस्सों के साथ उनकी भीतरी दुनिया, उनके मन के अब तक ढंके कोनों-अंतरों को भी बहुत करीब से जान और महसूस कर पाते हैं.
कभी पुरानी नहीं होती यादों की तासीर है अशोक अग्रवाल की पुस्तक ‘संग साथ’
यह किताब एक अभिनेता, गीतकार, नाटककार, कवि, गायक के जीवन की कहानी मात्र नहीं है बल्कि यह एक हौसले के टूटकर बिखर जाने से बचने और खुद को साबित करने की बेमिसाल प्रेरक कथा भी है. इसकी भाषा और कहन के अंदाज़ में एक ताजगी है.
दिग्गज लेखक, निर्देशक से लेकर युवाओं तक की पसंद
‘तुम्हारी औकात क्या है पीयूष मिश्रा’ उपन्यास के बहाने पीयूष मिश्रा की लेखनी का लोहा एक तरफ ममता कालिया जैसी दिग्गज कथाकार और अनुराग कश्यप जैसे चर्चित फ़िल्मकार ने माना है तो दूसरी तरफ आम युवा पाठकों की बड़ी तादाद उनकी मुरीद बन रही है.
फोटो सौजन्य- राजकमल प्रकाशन
जानी-मानी कथाकार ममता कालिया कहती हैं, “जिस अंदाज में पीयूष मिश्रा ने अपनी यह किताब ‘तुम्हारी औक़ात क्या है पीयूष मिश्रा’ लिखी है, इसे आत्मकथा के बजाय संघर्ष-कथा कहना माकूल होगा. कहन ऐसी कि किताब छोड़ी न जाए. किताब में हमारी देखी हुई दुनिया का चुम्बक है. सफलता का संघर्ष यहां गहरे रंगों में उभरा है. आधे पन्ने पढ़ते-पढ़ते हम मनाने लगते हैं—या खुदा, इसका हीरो कामयाब हो जाए. उसे हारने न देना.”
पीयूष मिश्रा को बेहद करीब से जानने वाले फ़िल्म निर्माता-निर्देशक अनुराग कश्यप लिखते हैं, “इस आदमी ने ज़िन्दगी जी है। एक बेचैन और प्रेरक ज़िन्दगी। लेखन का बेहद ईमानदार और नंगा टुकड़ा, एक आत्मकथा; जिसे उपन्यास की शक्ल में लिखा गया है। उनकी यह किताब मेरे भीतर इस तरह प्रतिध्वनित हुई कि मैं अकेला नहीं रह गया। एक किताब जिसे वही लिख सकता है जो क्रूरता की हद तक ईमानदार हो। एक किताब जिसकी तुलना मैं जेम्स ज्वायस की ‘ऐ पोट्रेट ऑफ द आर्टिस्ट एज़ ए यंग मैन’ से कर रहा हूँ। किताब जो एक लीजेंड के बनने के बारे में है, उसके भीतर के शैतान, अपराधबोध, अहंकार और संगीत और लेखन की उसकी प्रतिभा के बारे में हैं। उस आदमी के बारे में जिसने जिन्दगी की समूची सरगम को जिया। यह किताब हर उस आदमी के लिए है जो इस मुल्क में कलाकार बनना चाहता है। हर उसके लिए जिसने अपनी कला की क़ीमत चुकाई है, या जो जानना चाहता है कि पीयूष मिश्रा होने के लिए क्या कुछ चुकाना पड़ता है।”
वहीं, नोएडा में रहने वाले पाठक दुर्गेश तिवारी ने इस किताब पर अपनी राय साझा करते हुए सोशल मीडिया पर लिखा कि नाट्य जगत का सीन और सिनेमा के कट-टू-कट अंदाज में लिखी गई यह किताब कहानी में कहानी कहती है. कई सारे ठहराव और भटकाव आते हैं, लेकिन ऊर्जा हर बार संभाल लेती है. पीयूष मिश्रा का यह उपन्यास कहानी को कुछ यूं बयां करता है, जिससे आभास होता है कि आम जीवन में भी अभिनय के चटख क्राफ्ट की ज्वाला लिए उछलते, धधकते, उबलते; शीर्ष की गहरी शांति की ओर बढ़ते जाना ही यथार्थ है, नियति है. यह क्राफ्ट ही है कि कहानी कभी मुकम्मल नहीं होती…क्योंकि जीवन ही कहानी है….!
ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें sachhikhabar हिंदी| आज की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट, पढ़ें सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट sachhikhabar हिंदी|
Tags: Bollywood news, Books, Hindi Literature, Hindi Writer, Literature
FIRST PUBLISHED : May 09, 2023, 21:12 IST
[ad_2]
Source link