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अंग्रेजी में भारतीय सिनेमा के संभवतः दो विश्वकोश (एनसायक्लोपीडिया) उपलब्ध थे, लेकिन हिंदी में ऐसा कोई कोश उपलब्ध नहीं था. चूंकि हिंदी देश की सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषा है, इस भाषा में सबसे अधिक फिल्में भी बनती हैं और हिंदी सिनेमाप्रेमियों की संख्या भी भारत में सबसे ज्यादा है. लिहाजा, हिंदी सिनेमा के विश्वकोश की आवश्यकता लंबे समय से महसूस की जा रही थी. इसी को ध्यान में रखते हुए इन्दिरा गांधी राष्ट्रीय कला केन्द्र – आईजीएनसीए ने हिंदी में सिनेमा के विश्वकोश का प्रकाशन किया है, जो प्रसिद्ध फिल्म पत्रकार श्रीराम ताम्रकर के अथक प्रयासों का परिणाम है. श्रीराम ताम्रकर खुद भी सिनेमा के चलते-फिरते एनसायक्लोपीडिया थे. हिंदी में सिनेमा का विश्वकोश आए, यह उनके जीवन की सबसे बड़ी अभिलाषा थी. दुर्भाग्य से इस कोश का लोकार्पण वह नहीं देख पाए, लेकिन यह बात भी महत्त्वपूर्ण है कि उनका यह कालजयी काम अब सिनेमाप्रेमियों के बीच है.
सिनेमा पर जो पहला विश्वकोश आया था, उसमें मात्र 250 एंट्री थीं और दूसरे में करीब 500 एंट्री थीं, लेकिन इस ‘हिंदी सिनेमा एनसायक्लोपीडिया’ में हिंदी सिनेमा से जुड़े 1,250 से अधिक कलाकारों, संगीतकारों, निर्देशकों, तकनीशियनों का परिचय दिया गया है. इसमें भारत के फिल्म संस्थानों के गठन और गतिविधियों का संक्षिप्त विवरण, राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार प्राप्त फिल्मों की सूची आदि भी दी गई है. हिंदी सिनेमा के बारे में जानकारी प्राप्त करने का यह एक प्रामाणिक स्रोत है. निश्चित रूप से ‘हिंदी सिनेमा एनसायक्लोपीडिया’ अपनी तरह का एक अनोखा प्रकाशन है, जो सिनेमाप्रेमियों की जिज्ञासा का समाधान करेगा.
श्रीराम ताम्रकर के प्रधान संपादकत्व में आईजीएनसीए से प्रकाशित ‘हिंदी सिनेमा एनसायक्लोपीडिया’ पर रविवार को विश्व पुस्तक मेले में गंभीर चर्चा हुई. इस चर्चा में प्रसिद्ध फिल्म निर्माता और अभिनेता राहुल मित्रा, लेखक और फिल्मकार डॉ. राजीव श्रीवास्तव, प्रसिद्ध लेखक और फिल्म विश्लेषक अविजीत घोष और प्रसिद्ध फिल्म विश्लेषक अर्णब बनर्जी ने भाग लिया. चर्चा का संचालन इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र के मीडिया सेंटर के नियंत्रक अनुराग पुनेठा ने किया.
इस मौके पर राहुल मित्रा ने कहा कि भारतीय सिनेमा पर इस तरह के एनसायक्लोपीडिया का प्रकाशन एक शानदार प्रयास है और यह सिनेमा प्रेमियों तथा सिनेमा के अध्येताओं, छात्रों के लिए बहुत उपयोगी साबित होगा. ‘साहेब बीवी और गैंगस्टर’, ‘साहेब बीवी और गैंगस्टर रिटर्न्स’, तथा ‘तोरबाज’ जैसी फिल्मों के निर्माता राहुल मित्रा ने इस एनसायक्लोपीडिया के प्रकाशन के लिए आईजीएनसीए को धन्यवाद दिया. उन्होंने कहा कि सिनेमा प्रेमियों और छात्रों, दोनों के लिए इसका महत्त्व है और यह एनसायक्लोपीडिया एक अमूल्य संसाधन साबित होगा.
सिनेमा पर कई अच्छी किताबें लिख चुके लेखक और वरिष्ठ पत्रकार अविजीत घोष ने भी इस प्रयास की प्रशंसा की और कहा कि प्रत्येक दशक में सिनेमा कैसे बढ़ा है और बढ़ रहा है, इसे साक्ष्यों तथा तथ्यों के साथ लिखना बहुत महत्त्वपूर्ण है. फिल्म समीक्षक अर्नब बनर्जी ने इस एनसायक्लोपीडिया के आगमन को सिनेमा साहित्य के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण कदम के रूप में माना. फिल्म इतिहासकार राजीव श्रीवास्तव, जिन्होंने इस एनसायक्लोपीडिया के निर्माण में अहम भूमिका निभाई है, ने कहा कि यह प्रकाशन वर्ष 2018 तक हिंदी फिल्मों के पूरे इतिहास का एक सत्यापित विवरण प्रस्तुत करता है.
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Tags: Bollywood news, Books, Hindi Literature, Literature
FIRST PUBLISHED : February 18, 2024, 22:26 IST
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