किसी संजीवनी से कम नहीं है इस दुर्लभ पेड़ की लकड़ी और पत्तियां, जानें इसके जबरदस्त फायदे

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संजय यादव/बाराबंकी : आयुर्वेद दुनिया की सबसे पुरानी थैरेपी है. इसका लोहा पूरी दुनिया मानती है. एक्सपर्ट का दावा है कि आयुर्वेद में हर मर्ज का इलाज है, रोगों को ठीक करने के लिए इसमें दवा के बजाय जड़ी-बूटियों का इस्‍तेमाल किया जाता है. चूंकि आयुर्वेदिक उपचार काफी प्रभावी है और इसके कोई साइड इफेक्‍ट भी नहीं है, इसलिए दुनिया भर में आयुर्वेदिक दवाएं काफी फेमस हो रही हैं. हम आपको ऐसी ही एक औषधि के बारे में बताने वाले हैं जिसके इस्तेमाल से आप शरीर में होने वाले कई रोगों से छुटकारा पा सकते हैं. दरअसल, हम बात कर रहे हैं चंदन के पौधे की. इसकी पत्तियां, छाल व तेल हमारी सेहत के लिए किसी संजीवनी से कम नहीं है. हालांकि चंदन का पेड़ दुर्लभ होता है.

भारतीय संस्कृति में चंदन को विशेष महत्व हासिल है .चंदन मांगलिक कार्यों और पूजा पाठ में बहुत ही शुभ माना गया है. औषधियों गुणों से भरपूर चंदन के पत्ते, छाल सेहत के लिए बेहद फायदेमंद होते हैं. चंदन चेहरे के दाग-धब्बे, पेट की जलन, किडनी की स्टोन, दांतों की समस्या, मुंहासो जैसे रोगों से निजात दिलाता है. चंदन की खुशबू बेहद मनमोहक होती है. ये स्ट्रेस को कम करने में मदद करती है. इसकी खुशबू से मानसिक तनाव कम होता है.

तनाव दूर करता है चंदन
जिला अस्पताल बाराबंकी के चिकित्सक डॉ. अमित वर्मा (एमडी मेडिसिन) ने बताया कि वैसे तो हमारे यहां कई प्रकार के चंदन के पेड़ पाए जाते हैं परंतु सफेद चंदन हमारे लिए काफी फायदेमंद है. सफेद चंदन का इस्तेमाल करना सेहत और स्किन दोनों के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है. सफेद चंदन की लकड़ी और तेल का इस्तेमाल आयुर्वेद में कई तरह की औषधियों के रूप में किया जाता है. सफेद चंदन लगाने से खुजली की समस्या से राहत मिलती है. चंदन की तासीर ठंडी होती है. इसे लगाने से शरीर में ठंडक आती है. इसी वजह से चंदन को माथे पर लगाने से सिर दर्द में राहत मिलती है. ये स्ट्रेस को कम करने में मदद करती है. इसकी खुशबू से मानसिक तनाव कम होता है. चंदन का उपयोग करने से चेहरे के दाग, धब्बों या फिर चोट के निशान तक गायब हो जाते हैं और स्किन मुलायम हो जाती है.

अल्सर के इलाज में कारगर
डॉ. अमित वर्मा ने बताया कि चंदन की लकड़ी से जो तेल निकाला जाता है बहुत ही कड़वा होता है. जिन लोगों के दांत में समस्या होती है जैसे दांत कमजोर हैं तो मसूड़ों में इस तेल को सुबह-शाम लगाना चाहिए. चंदन का तेल मसूड़ों को मजबूत बनाता है. चंदन के पत्ते और लकड़ी के रस में खास प्रकार के तत्व पाए जाते हैं, जो पेट के अंदरूनी रोगों का इलाज करने में मदद करते हैं. चंदन की लकड़ी में कई ऐसे कंपाउंड होते हैं, जो पेट के अल्सर का इलाज करने में मदद करते हैं. आपको बता दें कि चंदन के चूर्ण का इस्तेमाल दूध के साथ किया जा सकता है.

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Disclaimer: इस खबर में दी गई दवा/औषधि और स्वास्थ्य से जुड़ी सलाह, एक्सपर्ट्स से की गई बातचीत के आधार पर है. यह सामान्य जानकारी है, व्यक्तिगत सलाह नहीं. इसलिए डॉक्टर्स से परामर्श के बाद ही कोई चीज उपयोग करें. Local-18 किसी भी उपयोग से होने वाले नुकसान के लिए जिम्मेदार नहीं होगा.

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